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छत्तीसगढ़ – प्रदेश में 18+ को हो रहे वैक्सीनेशन में प्रदेश सरकार के द्वारा वैक्सीनेशन में दिए आरक्षण को चुनौती देते हुए दायर याचिका पर छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने प्रदेश सरकार पर सख्त टिप्पणी की है। जिसमे कोर्ट ने कहा है कि राज्य सरकार की ओर से वैक्सीनेशन में आरक्षण के नाम पर वर्गीकरण करना न्यायोचित नहीं है। वैक्सीनेशन को लेकर नियम व् नीति तय करने का अधिकार केंद्र सरकार को है ना की राज्य
की सरकार को।
विदित हो की राज्य सरकार ने कुछ दिन पहले ही आदेश जारी किया था। जिसमे 18+ लोगो को हो रहे वैक्सीनेशन में पहले अंत्योदय राशन कार्ड धारकों को वैक्सीन लगाने की बात कही गई थी। राज्य सरकार के इस आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट में छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस ‘जोगी’ के अध्यक्ष अमित जोगी सहित अन्य लोगों ने कोर्ट में याचिका दायर की है। इस मामले में अधिवक्ता सभ्य सांची भादुड़ी की याचिका पर हाईकोर्ट ने सुनवाई की,याचिकाकर्ता ने अपनी दायर याचिका में प्रदेश सरकार के फैसले को भारतीय संविधान में समानता का अधिकार देने वाले अनुच्छेद 14 के खिलाफ बताया। याचिकाकर्ता की तरफ से दिए अपनी दलील में कहा की सरकार के इस फैसले से अन्य बाकि वर्ग के लोगो को वैक्सीनेशन में विलम्ब होगा , जिससे इस,महामारी में संक्रमण की वजह से राज्य में मौत का जो आंकड़ा है वह बढ़ सकता है।
जिसके बाद कोर्ट ने मामले पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार से शुक्रवार तक ठोस नीति प्रस्तुत करने का आदेश जारी किया है, साथ ही कोर्ट ने कहा है की सरकार द्वारा ठोस नीति न पेश कर पाने की स्थिति में राज्य सरकार का यह आदेश हम रद्द कर देंगे। पूरे मामले की सुनवाई चीफ जस्टिस की डिवीजन बेंच द्वारा करी गई।